सतपाल सिंह सत्ती ने 267 व्यक्तियों को प्रदान किए पेंशन के स्वीकृति पत्र
ऊना / 24 जुलाई / न्यू सुपर भारत
छठे राज्य वित्तायोग के अध्यक्ष सतपाल सिंह सत्ती ने ऊना के वार्ड नंबर 6 में आज 267 पात्र व्यक्तियों को पेंशन के स्वीकृति पत्र प्रदान किए। अपने संबोधन में सतपाल सिंह सत्ती ने कहा कि मुख्यमंत्री जय राम ठाकुर के नेतृत्व में प्रदेश सरकार ने बुढ़ापा पेंशन की आयु सीमा घटाकर 60 वर्ष कर दी है, जिससे जिला ऊना में नए 11,143 पात्र व्यक्तियों को पेंशन का लाभ मिला है। जिनमें से 3 हजार से ज्यादा लाभार्थी ऊना सदर विस क्षेत्र के हैं।
इसी कड़ी में 60 वर्ष से अधिक उम्र के लाभार्थियों को पेंशन के स्वीकृति पत्र प्रदान किए गए हैं। सत्ती ने आयु सीमा 70 वर्ष से घटाकर 60 साल करने के फैसले का स्वागत करते हुए कहा कि प्रदेश सरकार ने पहली जुलाई से सभी पात्र व्यक्तियों को पेंशन देने का फैसला किया है, जो ऐतिहासिक है। उन्होंने कहा कि अब जिला ऊना में प्रदेश सरकार 58 हजार से अधिक व्यक्तियों को सामाजिक सुरक्षा पेंशन का लाभ दे रही है। छठे राज्य वित्तायोग के अध्यक्ष सतपाल सिंह सत्ती ने कहा कि पिछले साढ़े चार वर्ष के कार्यकाल में वर्तमान प्रदेश सरकार ने जन कल्याण के लिए अनेकों योजनाएं चलाई हैं।
मुख्यमंत्री जय राम ठाकुर की सरकार ने 125 यूनिट तक बिजली के बिल माफ कर दिए हैं। इसके अलावा ग्रामीण क्षेत्रों में पानी का बिल पूरी तरह से माफ किया है। महिलाओं को सरकारी बसों के किराए में 50 प्रतिशत की छूट प्रदान की है। गरीब को इलाज की चिंता न हो, इसके लिए हिमकेयर जैसी योजना शुरू की। इस योजना में एक परिवार के 5 लाख रुपए तक के इलाज का खर्च सरकार वहन करती है।
उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार ने फ्री में गैस कनेक्शन तथा जल जीवन मिशन के तहत फ्री में पानी के कनेक्शन भी प्रदान किए हैं। सत्ती ने सभी से इन जन कल्याणकारी योजनाओं का लाभ लेने की अपील की। इस अवसर पर नगर परिषद ऊना की अध्यक्ष पुष्पा देवी, पवन कपिला, जनक राम खजांची, डॉक्टर सुभाष, विनोद पुरी, प्रवीण पुरी, ममता कश्यप, उर्मिल चौधरी, इंदु, कैप्टन चरणदास, बलबिंदर, भाजपा जिला महामंत्री राजकुमार पठानिया, बलविंदर गोल्डी, संतोख अरोड़ा, गणेश सांभर, विनय शर्मा, सीमा दत्ता, रितु आसोतरा, प्रवीण पुरी, मुनीष कपिला, शुभम सैणी, शिवम, केतन, सचिन, खामोश जैतिक, विकास पुरी, सुजीत सैणी तथा विजय साहनी सहित अन्य गणमान्य व्यक्ति उपस्थित रहे।