Site icon NewSuperBharat

मुख्यमंत्री कन्यादान योजना में दी 375 परिवारों को आर्थिक सहायता **वर्ष 2019-20 में योजना के तहत बाँटे 1.60 करोड़ रुपए

ऊना / 22 अगस्त / न्यू सुपर भारत न्यूज़

हिमाचल प्रदेश सरकार, मुख्यमंत्री जय राम ठाकुर के नेतृत्व में राज्य के सभी वर्गों को लाभान्वित करने के उद्देश्य से जिन योजनाओं को अमलीजामा पहना रही है, उनमें से एक है-मुख्यमंत्री कन्यादान योजना। इस योजना के तहत राज्य सरकार गरीब परिवारों की कन्याओं के विवाह के लिए आर्थिक सहायता प्रदान करती है।

योजना का ब्यौरा देते हुए उपायुक्त ऊना संदीप कुमार बताते हैं कि मुख्यमंत्री कन्यादान योजना का लाभ लेने के लिए अनिवार्य दस्तावेज़ों में आय प्रमाण-पत्र, पहचान-पत्र, निवासी प्रमाण, आधार कार्ड, बैंक पासबुक की प्रतिलिपि तथा पासपोर्ट फोटो शामिल हैं। आवेदन प्रपत्र को आवश्यक दस्तावेज़ों के साथ उसी कार्यालय में जमा करवाना आवश्यक है, जहाँ से इसे प्राप्त किया गया है। आवेदन प्रपत्र के लिए संबंधित आंगनबाड़ी, सीडीपीओ या जि़ला कार्यक्रम कार्यालय में संपर्क किया जा सकता है।

मुख्यमंत्री कन्यादान योजना के तहत ऊना जि़ला में वर्ष 2019-2020 के दौरान 375 गरीब परिवारों को कन्याओं के विवाह के लिए आर्थिक मदद प्रदान की गई। जि़ला को योजना के तहत 1.64 करोड़ रुपए का बजट आबंटित हुआ था; जिसमें से 1.60 करोड़ रुपए पात्र परिवारों को प्रदान किए गए। चालू वित्त वर्ष के दौरान मुख्यमंत्री कन्यादान योजना के तहत जि़ला को 55 लाख रुपए का बजट आबंटित हुआ है।

योजना में पात्रता- मुख्यमंत्री कन्यादान योजना में उन लड़कियों के विवाह के लिए प्रदेश सरकार 51 हजार रुपए की वित्तीय सहायता प्रदान करती है, जो अनाथ हैं या जिनके माता-पिता शारीरिक अथवा मानसिक रूप से अक्षम हैं। इस योजना का उद्देश्य उन गरीब परिवारों की लड़कियों को वित्तीय सहायता प्रदान करना है, जो अपनी बेटी के विवाह का खर्च नहीं उठा सकते। आवेदनकर्ता परिवार की वार्षिक आय 35,000 रुपये से अधिक नहीं होनी चाहिए। योजना का लाभ प्राप्त करने के लिए पात्र लडक़ी की आयु कम से कम 18 वर्ष होनी चाहिए।

आवश्यक्तानुसार बजट की उपलब्धता- जि़ला कार्यक्रम अधिकारी (आईसीडीएस) सतनाम सिंह बताते हैं कि इस वर्ष विभाग को मुख्यमंत्री कन्यादान योजना के तहत 55 लाख रुपए का बजट प्राप्त हुआ है। आर्थिक सहायता प्राप्त करने के लिए नए आवेदन प्राप्त हो रहे हैं। आवश्यकतानुसार सरकार से योजना में अतिरिक्त बजट की मांग की जा सकती है।

Exit mobile version