December 25, 2024

बौद्ध धर्मगुरु दलाई लामा की सुरक्षा बढ़ाई गई, जासूसी की बात सामने आने पर हिमाचल सरकार का कदम

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मैक्लोडगंज / 26 अगस्त / विक्रम सिंह   

आध्यात्मिक गुरु दलाई लामा की जासूसी का मामला सामने आने के बाद उनकी सुरक्षा व्यवस्था बढ़ा दी गई है। यह जानकारी हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने दी। हवाला मामले में गिरफ्तार चीनी नागरिक लुओ सांग उर्फ चार्ली पेंग पर दिल्ली में बौद्ध लामाओं को रिश्वत देकर दलाई लामा से जुड़ी जानकारी जुटाने के आरोपों के चलते चार्ली पेंग से सुरक्षा एजेंसियों लगातार पूछताछ कर रही है।

पूछताछ के दौरान दलाई लामा की जासूसी मामले का भी पर्दाफ़ाश हुआ था। इसके चलते दलाई लामा की सुरक्षा को बढ़ाया गया है। दलाई लामा की सुरक्षा में बड़ी चूक उस समय उजागर हुई जब इस मामले में चीनी मूल की जर्मन महिला व उसकी दो बेटियां गैर पंजीकृत घरों में बिना सी-फार्म भरे धर्मशाला के भागसूनाग व बीड़ रोड स्थित हट्स में ठहरी हुई थीं।

अब जांच में जुटी एजेंसियां
जांच में सामने आए तथ्यों के आधार पर जानकारी मिली है। कि चीनी मूल की जर्मन महिला धर्मशाला के भागसूनाग में किराए के मकान में रह रही थी। और उसकी दो बेटियां बीड़ रोड स्थित योग केंद्र के हट्स में रह रही थीं। लेकिन केंद्रीय सुरक्षा एजेंसियों समेत अन्य विभागों को इस की जानकारी नहीं थी। अब पुलिस इन सभी पहलुओं को खंगाल रही है। जिला कांगड़ा में गैर पंजीकृत होटल व गेस्ट हाउस में ठहरने वालों की कोई भी जानकारी संबंधित मकान मालिक विदेशी पंजीकरण कार्यालय में नहीं देता है। जबकि नियमानुसार भारतीय विदेश मंत्रालय ने इस प्रक्रिया को आसान बनाते हुए किसी भी विदेशी पर्यटक के आगमन पर ऑनलाइन पंजीकरण करवाने की सुविधा प्रदान कर रखी है।

सेना का मुख्यालय व दलाईलामा का निवास स्थान अतिसंवेदनशील
कानूनी झंझटों से बचने के लिए इन आदेशों को अनदेखा किया जाता है। इन पर्यटकों का आंकड़ा पर्यटन विभाग के पास नहीं होता है। जिससे इन विदेशी पर्यटकों की सही जानकारी मिल सके। कोरोना काल में भी ऐसे विदेशी पर्यटकों की संख्या सामने आई। ऐसे में जिला कांगड़ा जो कि सेना की नौवीं कोर मुख्यालय होने के साथ-साथ तिब्बत निर्वासित सरकार का मुख्यालय व मैक्लोडगंज स्थित दलाई लामा का अस्थायी निवास स्थान होने के चलते अति संवेदनशील है। ऐसे में विदेशी पर्यटकों की उपस्थिति सुरक्षा की दृष्टि से भारी चूक मानी जा रही है।

सरकार करती है थ्री-लेअर सिक्युरिटी की मॉनिटरिंग
दलाई लामा की सुरक्षा की जिम्मेदारी भारतीय विदेश मंत्रालय व गृह मंत्रालय द्वारा मॉनिटर की जाती है। वर्तमान में दलाई लामा की सुरक्षा तीन स्तरीय है। जिसमें हिमाचल पुलिस की द्वितीय सशस्त्र वाहिनी के डीएसपी के अधीनस्थ 108 पुलिस कर्मचारी 24 घंटे दलाई लामा की सुरक्षा में तैनात हैं। इसके अतिरिक्त केंद्रीय तिब्बती प्रसाशन के सुरक्षा विभाग का सुरक्षा घेरा रहता है। व केंद्रीय सुरक्षा एजेंसियों के अधिकारी तैनात हैं। हर प्रवेश द्वार पर डोर फ्रेम मेटल डिटेक्टर (स्कैनर) लगे हुए हैं। जहां से हर आगुन्तक की गहनता से जांच करने के बाद ही प्रवेश की अनुमति दी जाती है। इस पूरे परिसर में किसी भी तरह के इलेक्ट्रॉनिक गैजेट, मोबाइल फोन, बैग व अन्य सामग्री ले जाने पर प्रतिबंध है। दलाई लामा के अस्थायी निवास स्थान, चुग्लाखंग व नामग्याल बौद्ध मठ के लिए एक ही प्रवेश द्वार है। जहां पर हर आने-जाने वाले आगुन्तक की जांच की जाती है। लेकिन कोरोना काल में इस क्षेत्र में प्रवेश पूर्णतया प्रतिबंधित है।

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