November 16, 2024

लिम्का बुक ऑफ रिकॉर्ड्स में दर्ज हुआ मंडी का ‘सामूहिक कन्यापूजन’

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मंडी / 20 नवंबर / न्यू सुपर भारत न्यूज़

मंडी में अंतरराष्ट्रीय शिवरात्रि महोत्सव के दौरान 9 मार्च, 2019 को बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ थीम के साथ सेरी मंच पर 1008 कन्याओं के सामूहिक पूजन की गतिविधि को लिम्का बुक ऑफ रिकॉर्ड्स-2020 में शामिल किया गया है। इसकी आधिकारिक सूचना बुधवार को लिम्का बुक ऑफ रिकॉर्ड्स प्रबंधन ने ई-मेल के जरिए उपायुक्त मंडी ऋग्वेद ठाकुर को दी है।
गौरतलब है कि इससे पहले बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ अभियान में शानदार काम के लिए मंडी जिला प्रशासन को इसी साल दो बार राष्ट्रीय पुरस्कारों से भी नवाजा जा चुका है।  


डीसी ने दी बधाई


उपायुक्त ऋग्वेद ठाकुर ने जिलावासियों को इस शानदार उपलब्धि के लिए बधाई देते हुए कहा कि जिले में बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ अभियान को जन सहयोग से जन आंदोलन बनाने में सफलता मिली है। लिम्का बुक ऑफ रिकॉर्ड्स-2020 में मंडी का नाम आना जिलावासियों समेत पूरे प्रदेश के लिए गर्व और सम्मान की बात है।
उन्होंने कहा कि इस बार अंतरराष्ट्रीय शिवरात्रि मेले के दौरान पहली बार सेरी मंच पर 1008 कन्याओं का सामूहिक पूजन का कार्यक्रम कर पुरातन संस्कृति को बेटियों की सुरक्षा से जोड़ने की कवायद की गई। इसमें जनसहयोग से 4 से 10 वर्ष आयु तक की बच्चियों के पूजन के जरिए अपनी समृद्ध परंपराओं से संदेश ग्रहण कर बेटियों के महत्व को लेकर जन जागृति लाने और बेटा-बेटी में भेद की नकारात्मक मानसिकता में बदलाव लाने के प्रयास किए गए। प्रशासन की इस पहल ने बड़े पैमाने पर लोगों का समर्थन और तारीफ बटोरी।
इसके अलावा दशहरा उत्सव के मौके पर कन्या भ्रूण हत्या को रावण का प्रतीक मानकर इसका दहन करके बेटा-बेटी में भेद की दरिद्र सोच को समाप्त करने का प्रभावी संदेश जन-जन तक पहुंचाने के प्रयास किए गए ।


जागरूकता पर जोर


ऋग्वेद ठाकुर ने कहा कि जिला में लैंगिक असंतुलन को दूर करने के लिए पूरी प्रतिबद्धता से कार्य करने के साथ-साथ लड़कियों की शिक्षा, सुरक्षा, स्वास्थ्य, सम्मान, स्वाभिमान और अधिकारों को लेकर जागरूकता बढ़ाने के लिए काम किया जा रहा है। इसके लिए स्त्री अभियान के माध्यम से महिला मंडलों, पंचायती राज संस्थानों व अन्य सामाजिक संस्थाओं का सहयोग लेकर पंचायतों-गांवों में अभियान छेड़ा गया है।
युवाओं को रैडक्रॉस की यूथ विंग से जोड़कर अभियान के संदेश को जन-जन तक ले जाया जा रहा है। इसके अलावा प्रशासन ने पंचायत स्तर पर बेटियों के जन्मोत्सव मनाकर व मेलों-त्यौहारों में मानव श्रृंखला बनाकर, सामूहिक कन्या पूजन जैसे कार्यक्रम आयोजित कर जन-जन तक अभियान का संदेश पहुंचाने एवं जागरूकता लाने के कारगर प्रयास किए हैं।
इसके अतिरिक्त महिला मंडलों, स्कूल प्रबंधन समितियों, सर्व देव समाज संस्था और पंचायती राज संस्थानों के प्रतिनिधियों की भागीदारी से गांव-गांव जागरूकता कार्यक्रमों की श्रृंखला आयोजित की गई है। सरकारी कार्यक्रमों में नवजात बच्चिायों के अभिभावकों को बधाई पत्र एवं उपहार देकर सम्मानित व प्रोत्साहित करने पर जोर दिया गया है।
उन्होंने कहा कि जिला में ‘बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ’ अभियान में एक नया आयाम जोड़ते हुए इसे पर्यावरण सुरक्षा से जोड़ कर बालिका गौरव उद्यान योजना शुरू की गई है। जिले की हर पंचायत में बेटियों के नाम पर उद्यान स्थापित करने की इस मुहिम में सामुदायिक भागीदारी बनाई गई है।
महिला एवं बाल विकास विभाग मंडी के जिला कार्यक्रम अधिकारी सुरेंद्र तेगटा ने कहा कि जिले में जनभागीदारी से ‘बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ’ अभियान को लेकर जागरूकता सृजन के लिए प्रभावी काम किया गया है। उन्होंने कहा कि लिम्का बुक ऑफ रिकॉर्ड्स में मंडी का नाम आने में प्रत्येक जिलावासी का योगदान है।
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