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सुंदर शाम अरोड़ा की ओर से होशियारपुर में धान की खरीद की शुरुआत ***कहा, पंजाब सरकार की ओर से बेमिसाल प्रबंध यकीनी बनाएगी फसल की सुचारु खरीद *** कृषि आर्डिनेंस के समय अकाली कहां सोए थे? *** तीनों बिल पंजाब विरोधी व किसान विरोधी *** किसान हितों की रक्षा न करने वाले राजनीतिक दलों को पंजाबी नहीं करेंगे माफ


होशियारपुर, 01 अक्तूबर / न्यू सुपर भारत न्यूज़ :


उद्योग एवं वाणिज्य मंत्री पंजाब सुंदर शाम अरोड़ा ने आज स्थानीय नई दाना मंडी में गांव ब_ियां ब्राह्मणा के किसान राम पाल की धान के ढेरी से धान की खरीद शुरु करवाते हुए कहा कि पंजाब सरकार की ओर से किसानों की फसल का एक-एक दाना उठाया जाएगा।


डिप्टी कमिश्नर अपनीत रियात व अन्य अधिकारियों सहित फसल की खरीद शुरु करवाते हुए उद्योग एवं वाणिज्य मंत्री ने किसानों से बातचीत करते हुए उनसे फसल बेचने के दौरान किसी किस्म की पेश आ रही समस्याओं के बारे में पूछा, जिस पर किसानों ने कहा कि मंडी में उनको कोई दिक्कत नहीं आ रही है व उनकी फसल 1888 रुपए प्रति क्विंटल बिकी है। इस दौरान उद्योग मंत्री ने मंडी में अलग-अलग ढेरियों पर जाकर धान की फसल देखते हुए अधिकारियों व खरीद एजेंसियों को निर्देश दिए कि किसानों को किसी भी किस्म की समस्या न आए।


उद्योग मंत्री ने बताया कि प्रशासन की ओर से कोविड के मद्देनजर जिले में 98 प्रतिशत केंद्र स्थापित किए गए हैं, जहां कोरोना वायरस के फैलाव को मुख्य रखते हुए विशेष तरह के इंतजाम अमल में लाए गए हैं ताकि किसानों, मजदूरों व आढ़तियों आदि को सुरक्षित रख कर धान की खरीद को सुचारु ढंग से संपन्न किया जा सके। उन्होंने बताया कि इस बार जिले की मंडियों में करीब 4.41 लाख मीट्रिक टन धान की आमद की उम्मीद है जिसकी खरीद व लिफ्टिंग के पुख्ता प्रबंध किए जा चुके हैं।


  इस मौके पर पत्रकारों की ओर से किसान मुद्दों व कृषि आर्डिनेंस के बारे में पूछे सवालों के जवाब में सुंदर शाम अरोड़ा ने कहा कि अकाली दल केंद्र में एन.डी.ए का सरगर्म सांझीदार होने के बावजूद किसानों के हित सुरक्षित रखने में बुरी तरह असफल रहा है। उन्होंने केंद्र सरकार को कोसते हुए कहा कि यदि केंद्र सही में किसान हितैषी होता तो वह पास किए बिलों में कम से कम समर्थन मूल्य की बरकरारी का भरोसा देता जबकि केंद्र की ओर से एम.एस.पी जारी रखने के बारे में स्थिति स्पष्ट नहीं की गई। उन्होंने कहा कि अकाली दल जो अब मगरमच्छ के आंसू बहा रहा है को पहले ही किसानों के साथ कंधे से कंधा मिलाकर खड़ा होना चाहिए था क्योंकि पंजाब का किसान देश में 50 प्रतिशत अन्न पैदा करता है। उन्होंने कहा कि अकाली दल की ओर से किसानों के हित का ध्यान न रखे जाने से इसका असल चेहरा बेनकाब हो चुका है।


एक अन्य सवाल के जवाब में मुख्य मंत्री ने कहा कि कृषि से संबंधित तीनों बिल पूरी तरह पंजाब विरोधी व किसान विरोधी है व केंद्र की ओर से जानबूझ कर किसानों का संवैधानिक हक मारा गया है क्योंकि केंद्र सरकार की मंशा कम से कम समर्थन मूल्य से यकीनन छेड़छाड़ वाली है।


अकाली दल को सवाल करते हुए सुंदर शाम अरोड़ा ने पूछा कि जब आर्डिनेंस लाए जा रहे थे तब अकाली दल कहां सोया हुआ था। उन्होंने कहा कि अब जबकि गांव-गांव अकालियों का जबरदस्त विरोध हो रहा है तो उन्होंने अपने स्वार्थी राजनीतिक हितों की पूर्ति के लिए कैबिनेट से इस्तीफा देकर अपनी राजनीतिक सांझीदार भाजपा से नाता तोडऩे को प्राथमिकता दी, जो कि अकाली दल के काम नहीं आएगी। उन्होंने कहा कि पंजाब के लोग किसान विरोधी पार्टियों को आने वाले समय में कभी भी माफ नहीं करेंगे। अरोड़ा ने कहा कि अकाली दल व अन्य पार्टियां पंजाब में अगले चुनावों के दौरान दूसरे व तीसरे स्थान के लिए जोर लगा रही हैं क्योंकि असल में उनके चेहरे नंगे हो चुके हैं।

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