फतेहपुर / 7 सितम्बर / रीता ठाकुर
सड़क दुर्घटना होने कारण पिछले दो साल से चारपाई पर पड़े बिकास खंड फतेहपुर की पंचायत मिन्ता के उत्तम सिंह को अभी तक किसी भी तरह की कोई मदद न मिल पाई है । बता दें पंचायत मिन्ता का उत्तम सिंह शादी के बाद से ही अपने ससुराल पंचायत लरहूँ के गांव बनकड़ोली में ही रह रहा है ।
अच्छी सेहत रखने बाला उत्तम कहीं प्राइबेट नॉकरी करता हुआ अपना ब परिबार का पालन पोषण कर रहा था कि करीब दो बर्ष पूर्ब जसूर -तलवाड़ा मार्ग पर धमेटा के समीप बाईक पर जा रहे उत्तम सिंह को किसी गाड़ी ने टक्कर मार दी जिस कारण बो सड़क किनारे बेहोशी की हालत में गिर पड़ा ।ब करीब 4 -5 घण्टे वहीं पड़ा रहा । जिस कारण उसका खून भी काफी बह गया था ।आखिर उसके ससुराल बालों को इसकी जानकारी मिली तो वह उसे वहां से ले आये ब पठानकोट के निजी अस्पताल ले गए जहां उसका काफी दिन इलाज चलता रहा ।जिसमे करीब 4 -5 लाख रु खर्च आया ।पैसा खर्च करने होने के बाद उत्तम सिंह की जान तो बच गई लेकिन आगामी करीब 2 माह तक बो घर में भी बेसुध रहा ।
आखिरकार धीरे -धीरे सेहत में सुधार हुआ और अब बो चारपाई पर बैठ कर खाना खाने के काबिल हो गया लेकिन उसके शरीर की एक साइड अभी भी उसका पूरा साथ नही दे रही है ।इतना कुछ होने के बाबजूद भी दो नन्ही बच्चियों दीपिका ब आरुषि के पिता को किसी भी तरह की कोई भी सहायता न मिली ।पीड़ित ने बताया लोगों की मेहरबानी से उसके परिबार को दो बक्त की रोटी नसीब हो रही है लेकिन कब तक ।उन्होंने सरकार ब प्रशासन से गुहार लगाई है कि उसकी भी कोई मदद की जाए ताकि चारपाई पर पड़े -पड़े नन्ही -नन्ही बच्चियों को अच्छी शिक्षा दिलबा पाऊं ।वहीं इस पर जब बार्ड बनकड़ोली सदस्य पुष्पिंदर जसरोटिया से बात की तो उन्होंने कहा उक्त पीड़ित परिबार पंचायत मिन्ता में दर्ज है इसलिये हमारी पंचायत कोई मदद नही कर पाई अब उक्त परिबार को पंचायत लरहूँ में दर्ज करबाने की प्रक्रिया चली हुई है जैसे ही परिबार पंचायत लरहूँ में दर्ज हो जाएगा पंचायत प्रतिनिधि ब कर्मचारी इन्हें कोई न कोई लाभ दिलबा देंगे ।वहीं पंचायत सचिब मिन्ता बलभूषन के साथ बात की तो उन्होंने कहा उक्त परिबार पंचायत लरहूँ में ही रहता है ब पंचायत मिन्ता में कभी किसी भी तरह की राहत के लिये आया ही नही ।वहीं अब उक्त परिबार एनओसी ले गया है ताकि बो पंचायत लरहूँ में दर्ज हो पाए ।फोटो कैप्शन -सड़क दुर्घटना कारण दो साल से चारपाई पर पड़े उत्तम का परिबार ब्यथा सुनता हुआ ।