December 26, 2024

राष्ट्रीय कृमि मुक्ति कार्यक्रम के सफल क्रियान्वन के लिए डीसी ने दिए अधिकारियों को निर्देश

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लघु सचिवालय के सभागार में राष्ट्रीय कृमि मुक्ति कार्यक्रम के सफल क्रियांवन को लेकर अधिकारियों को आवश्यक दिशा निर्देश देते उपायुक्त डॉ. नरहरि सिंह बांगड़।

फतेहाबाद / 30 सितंबर / न्यू सुपर भारत न्यूज़

जिला में राष्ट्रीय कृमि मुक्ति कार्यक्रम 2020 को सुचारू रूप से सम्पन्न करें। कार्यक्रम के तहत 1-19 साल के बच्चों को शत प्रतिशत एल्बेंडाजोल की दवाई देना सुनिश्चित किया जाएं। ये निर्देश उपायुक्त डॉ. नरहरि सिंह बांगड़ ने बुधवार को लघु सचिवालय के सभागार में आयोजित राष्ट्रीय कृमि मुक्ति कार्यक्रम बैठक की अध्यक्षता करते हुए स्वास्थ्य, महिला एवं बाल विकास, शिक्षा विभाग व संबंधित विभाग के अधिकारियों को दिए। उपायुक्त ने कहा कि इस कार्यक्रम के लिए संबंधित विभाग ज्यादा से ज्यादा प्रचार प्रसार करें।

उपायुक्त डॉ. बांगड़ ने संबंधित विभाग के अधिकारियों को निर्देश दिए कि वे सभी बच्चों को दवा खिलाने में स्वास्थ्य विभाग का पूर्ण सहयोग करें। उन्होंने कहा कि बच्चों को विश्वास दिलाने के लिए ड्यूटी पर तैनात कर्मी भी इस दवा को खा सकता है, ताकि बच्चे को भय न हो कि गोली खाने से उन्हें कोई दिक्कत होगी। उपायुक्त ने स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों से कहा कि जिला में ईंट भट्टों, भवन निर्माण एरिया व स्लम एरिया में जहां श्रमिक कार्य कर रहे हो, उनके एक से उन्नीस वर्ष के बच्चों को निशुल्क दवाई खिलाई जाएं। इस कार्य में खाद्य एवं आपूर्ति विभाग भी सहयोग करें। उन्होंने कहा कि दवाई खाना खाने के उपरान्त खिलाई जाएं व बच्चों को अपने सामने टैबलेट चबाकर खिलवाना सुनिश्चित करें। उन्होंने स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों से कहा कि ग्रामीण क्षेत्रों में भी इस अभियान को पूर्णरूप से सफल बनाने के लिए गांव के पंच-सरपंच, नंबरदार तथा सामाजिक-धार्मिक संगठनों के प्रतिनिधियों का भी सहयोग लें। उन्होंने कहा कि व्हाट्सएप गु्रप के माध्यम से भी बच्चों व उनके अभिभावकों को दवाई पिलाने बारे प्रेरित करें। उपायुक्त ने कहा कि फोन के माध्यम से भी गांव के पंच-सरपंच, नंबरदार तथा गांवों के गणमान्य व्यक्तियों को राष्ट्रीय कृमि मुक्ति कार्यक्रम की जानकारी दी जाएगी।

उन्होंने कहा कि बच्चों को उनके घर द्वार पर ही एल्बेंडाजॉल की दवाई खिलाने के लिए संबंधित विभाग पूर्ण सहयोग करें। उपायुक्त ने स्वास्थ्य विभाग को निर्देश दिए कि राष्ट्रीय कृमि मुक्ति कार्यक्रम के लिए जिला व ब्लॉक स्तर पर पेंटिंग इत्यादि प्रतियोगिताओं का आयोजन करवाया और प्रतियोगिताओं में विजेता रहे बच्चों को भी सम्मानित किया जाए। उपायुक्त ने कहा कि कोविड-19 बीमारी से बचाव हेतू निर्गत सभी दिशा निर्देशों व आवश्यक सुरक्षा उपायों का ध्यान रखते हुए आशा कर्मी गृह भ्रमण के समय कृमि मुक्ति की दवाई एल्बेंडाजॉल, घर-घर जाकर सभी 1-19 वर्ष आयु वर्ग के बच्चों और किशोरों को निर्धारित खुराक के अनुसार देंगी। उपायुक्त ने कहा कि सामुदायिक जागरूकता में आशा की अह्म भूमिका होती है। गृह भ्रमण के समय आशा यह सुनिश्चित करें उनके द्वारा फेस मास्क पहना हो, सुनिश्चित करें की परिवार के सभी सदस्यों ने मास्क पहना है, दूसरों का अभिवादन दूर से ही करें, सबसे 2 गज (6 फीट) की दूरी बनाए रखें तथा दवा खिलाने से पहले अपने हाथ साबुन एवं पानी से अच्छे से धोएं।

इस मौके पर सिविल सर्जन डॉ. मनीष बसंल व डिप्टी सीएमओ डॉ. वीना ने संयुक्त रूप से बताया कि पेट के कीड़े मारने की दवाई खाने अगर किसी बच्चे को कोई परेशानी होती है तो वे तुरंत 108 नम्बर पर फोन कर सिविल सर्जन कार्यालय में सम्पर्क कर सकते हैं। उन्होंने कहा कि एल्बेंडाजॉल टैबलेट खाने से वैसे तो कोई नुकसान नहीं है पर फिर भी अगर किसी बच्चे में डर है या उसे खाने से कोई दिक्कत लगती है तो वे हैल्पलाइन नम्बर पर सम्पर्क कर सकते हैं। उन्होंने कीड़े मारने की दवाई के बारे में विस्तार से बताया तथा जिन बच्चों के पेट में कीड़े होते हैं उनके लक्षणों के बारे में भी जानकारी दी। उन्होंने बताया कि प्रत्येक व्यक्ति को किसी भी प्रकार के वायरस से बचनेे के लिए दिन में बार-बार हैंडवॉश करने चाहिए। किसी भी व्यक्ति से मिलते हैं तो उससे हाथ मिलाने की बजाय नमस्ते करें, समय-समय पर शारीरिक जांच करवाते रहें। उन्होंने बताया कि एल्बेंडाजोल की टैबलेट से किसी तरह का नुकसान नहीं होता।

उन्होंने बताया कि 1-2 साल के बच्चों को आधी दवाई खिलाएं। दवाई को दो चम्मच के बीच रखकर पूरी तरह चूरा करें और पीने के पानी  में मिलाकर ही खिलाएं। इसी प्रकार से 2-3 साल के बच्चों को एक पूरी दवाई खिलाएं। दवाई को दो चम्मच के बीच रखकर पूरी तरह चूरा करें और पीने के पानी में मिलाकर ही खिलाएं। 3-19 साल के बच्चों को हमेशा दवाई चबाकर खाने की सलाह दें। बिना चूरा या चबाकर खाई गई एल्बेंडाजॉल दवाई का प्रभाव महत्वपूर्ण रूप से कम हो सकता है। पीने के पानी साथ रखें। आशा अपने सामने ही चम्मच से हर बच्चे को दवाई खिलाएं। बैठक में एडीसी अजय चोपड़ा, डीईईओ देवेन्द्र कुंडु, पीओ आईसीडीएस राजबाला, डिप्टी सीएमओ डॉ. हनुमान, डॉ. संगीता सहित संबंधित विभाग के अधिकारी मौजूद रहे।

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