दीन दयाल अंत्योदय योजना- राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन से गरीब परिवारों की आर्थिकी हो रही सुदृढ़ ** हमीरपुर जिला में इस वर्ष 189 नए स्वयं सहायता समूह गठित
जिला लोक सम्पर्क अधिकारी, हमीरपुर की रिपोर्ट
ग्रामीण क्षेत्रों में महिलाओं व युवाओं को आर्थिक तौर पर सुदृढ़ करने के लिए प्रदेश सरकार कृतसंकल्प है। युवा रोजगार के स्थान पर स्वरोजगार के लिए प्रयास करें, इस उद्देश्य से मुख्यमंत्री स्वावलंबन योजना सहित प्रदेश में केंद्र सरकार द्वारा प्रारंभ विभिन्न योजनाओं का बेहतर क्रियान्वयन सुनिश्चित किया गया है। दीन दयाल अंत्योदय योजना- राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन इन्हीं में से एक है।
राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन आर्थिक तौर पर कमजोर ग्रामीणों को अपनी घरेलू आय में वृद्धि के लिए सक्षम एवं प्रभावकारी संस्थागत मंच प्रदान करता है। मिशन के अंतर्गत संपोषणीय (सस्टेनेबल) आजीविका वृद्धि और वित्तीय सेवाओं के लिए बेहतर पहुंच प्रदान करने पर बल दिया जा रहा है। पूरे देश में इस मिशन के अंतर्गत 600 जिलों के लगभग सात करोड़ ग्रामीण गरीब परिवारों को स्व-प्रबंधित स्वयं सहायता समूहों व आजीविका संगठनों के माध्यम से आर्थिक तौर पर उन्नत किया जा रहा है। इन समूहों को वित्तीय सहायता उपलब्ध करवा कर ग्रामीण स्तर के उत्पादन व वाणिज्यिक गतिविधियों से जोड़ा जा रहा है।
हमीरपुर जिला में भी इसके अंतर्गत स्वयं सहायता समूहों का गठन किया गया है। यह समूह विभिन्न गतिविधियों के माध्यम से अपनी आर्थिकी सुदृढ़ करने में प्रयत्नशील हैं। जिला में वर्ष 2019-20 में 205 स्वयं सहायता समूह गठित करने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है और 30 नवंबर, 2019 तक 189 समूह गठित कर लिए गए हैं। इन समूहों के माध्यम से लगभग 488 लाख रुपए के जमा राशि के जुटाव का लक्ष्य रखा गया है। वर्तमान में लगभग 111 लाख रुपए की जमा राशि अर्जित कर ली गयी है।
मिशन के एक अन्य घटक दीन दयाल उपाध्याय- ग्रामीण कौशल्य योजना के अंतर्गत युवाओं को रोजगार के लिए तैयार किया जा रहा है। इस योजना का मुख्य उद्देश्य 15 से 35 वर्ष के गरीब ग्रामीण युवाओं को आर्थिक तौर पर स्वतंत्र एवं वैश्विक स्तर के जन बल में परिवर्तित करना है। इससे ग्रामीण परिवारों की आय में विविधता लाई जा रही है, वहीं युवाओं की जीविका संबंधित आकांक्षाओं की पूर्ति भी सुनिश्चित की जा रही है। योजना के अंतर्गत युवाओं के कौशल में निखार लाने के लिए उन्हें प्रशिक्षित किया जा रहा है। डिजिटल वाऊचर के माध्यम से सहायता राशि सीधे छात्रों के बैंक खातों में प्रेषित की जा रही है।
हमीरपुर जिला में इस योजना के अंतर्गत तीन माह का निःशुल्क कम्प्यूटर हार्डवेयर प्रशिक्षण प्रदान किया जा रहा है। इसमें उन्हें आवासीय व भोजन सुविधा सहित प्रशिक्षण उपरांत रोजगार प्रदान करने में भी मदद दी जा रही है। जिला में 200 युवाओं को लाभान्वित करने के लक्ष्य के विपरीत वर्तमान में गरीबी रेखा से नीचे रहने वाले (बीपीएल) परिवारों के 201 युवाओं को प्रशिक्षित किया जा रहा है। इनमें से 147 युवाओं ने प्रशिक्षण पूर्ण किया जा चुका है और शेष 65 अभी प्रशिक्षण प्राप्त कर रहे हैं। प्रशिक्षण उपरांत 40 युवाओं को रोजगार प्रदान करने में भी सहायता दी गई है।
इन योजनाओं से युवाओं के कौशल में निखार आने के साथ-साथ ग्रामीण महिलाओं की आर्थिकी में भी सकारात्मक परिवर्तन आ रहा है।