धर्मशाला / 17 अप्रैल / विक्रम चंबियाल
अमेरिका से बीती 20 मार्च को धर्मशाला लौटी निर्वासित तिब्बती महिला के संक्रमित होने की आंशका ने धर्मशाला का पारा चढ़ा दिया है। इसके चलते 83 वर्षीय तशी डोलमा को डेलेक हॉस्पिटल धर्मशाला में दाखिल किया गया है। तशी डोलमा एक वर्ष तक अमेरिका में रहने के बाद 13 मार्च को दिल्ली पहुंची व वहां से 20 मार्च को धर्मशाला पहुंची थी। कोरोना वायरस के संक्रमण के बढ़ते मामलों के बाद भी निर्वासित तिब्बती महिला व उसके परिजनों ने यह जानकारी छुपाई कि वह अमेरिका से वापस धर्मशाला लौटी हैं।
जिला प्रशासन अब इस मामले को लेकर जांच में जुट गया है। तशी डोलमा धर्मशाला के समीप नोर्बोर्लिंग्का इंस्टिट्यूट के समीप अपने बेटे के घर में ठहरी हुई थी। 26 मार्च को तशी डोलमा को जुकाम,बुखार व अन्य लक्षण पाए जाने पर उसके परिजनों ने हांगकांग में रह रही दूसरी बेटी जो कि मेडिकल लाइन से संबंधित है। कि सलाह पर कुछ दवाई देना शुरू किया। लेकिन आराम ना होने पर उसे 15 अप्रैल को धर्मशाला के डेलेक हॉस्पिटल में दाखिल करवाया गया। उसके बाद अब तिब्बती महिला के सैंपल टेस्ट के लिए भेजें हैं। तिब्बतियन सेटलमेंट अधिकारी धर्मशाला कुंगा त्सेरिंग के मुताबिक तशी डोलमा के हॉस्पिटल में दाखिल होने की सूचना मिलने के बाद इस मामले में जानकारी जुटाई जा रही है। जिला प्रशासन से मिली हिदायतों के बाद निर्वासित तिब्बती समुदाय को अपनी.अपनी जानकारी सांझा करने को कहा गया था। लेकिन ताजा मामला सामने आने के बाद इस बात का संशय पैदा हो गया है कि निर्वासित तिब्बती इस मसले पर अभी भी पूरी तरह सहयोग नहीं कर रहे। इस मामले में भी जांच की जा रही है। उधर, डेलेक हॉस्पिटल की मेडिकल अफसर तेंजिन नामदोल ने बताया। कि तशी डोलमा की टेस्ट रिपोर्ट नेगिटिव आई है। उन्होंने क्वारंटाइन पीरियड पूरा कर लिया है। ऐसे में कोई खतरा नहीं है।